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Sunday, 21 November 2010

सब कुछ मिला तू ना मिला -आरोप १९७३

गीतकार माया गोविन्द पर चर्चा हमने थोड़े समय पहले की थी ।
फिल्म आरोप से उन्होंने अपना फ़िल्मी कैरियर शुरू किया ।
आइये फिल्म आरोप का एक गीत और सुनें। ये एक कैबरे गीत
है जो बिंदु पर फिल्माया गया है। कैबरे गीत है तो स्वाभाविक
तौर पर आवाज़ आशा भोंसले की ही होना चाहिए। संगीत भूपेन
हजारिका का है। एक बरगी सुनने में ऐसा लगता है मानो इस गीत
की रचना आर डी बर्मन ने की हो।



गीत के बोल:

झिन्चक झिन्चाक झिगिंग झिगिंग
झिन्चक झिन्चाक झिगिंग झिगिंग
हो, दिल का जाम
जाने जाना जान

झिन्चक झिन्चाक झिगिंग झिगिंग
हो, झिन्चक झिन्चाक झिगिंग झिगिंग
कितने बीत गए हैं दिन
कितनी बीती रातें मगर दिलरुबा
सब कुछ मिला तू ना मिला
सब कुछ मिला तू ना मिला

हे, पीता जा जाने जान
जाने जाना जानेमन

जला जला के
जला जला के
जला जला के अपना दिल
किया उजाला हमने
झिन्चक झिन्चक झिगिंग झिगिंग
प्यास जगा के होठों में
जाम लिया मौसम ने
प्यास जगा के होठों में
जाम लिया मौसम ने

सब कुछ मिला तू ना मिला
सब कुछ मिला तू ना मिला

ये ये ये ये ये ये
या या या , या या

दो दिनों की,
दो दिनों की
दो दिनों की ज़िन्दगी
क्यूँ ना करें मनमानी
झिन्चक झिन्चाक झिगिंग झिगिंग
बीत ना जाए अरे कहीं
यूँ ही जवानी जानी
बीत ना जाए अरे कहीं
यूँ ही जवानी जानी

सब कुछ मिला तू ना मिला
सब कुछ मिला तू ना मिला

अरे फरेबी,
ऐ, अरे फरेबी
अरे फरेबी जालिम
तूने चुराया है दिल
झिन्चक झिन्चाक झिगिंग झिगिंग
कोई ना जाने मेरे सिवा
कौन है मेरा कातिल
कोई ना जाने मेरे सिवा
कौन है मेरा कातिल

सब कुछ मिला तू ना मिला
सब कुछ मिला तू ना मिला

सब कुछ मिला तू ना मिला
तू ना मिला
हे पीता जा जाने जान
जाने जाना जानेमन

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