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Monday 30 January 2012

कोमल मधुर चतुर -कैदी १९८४

आज आपको बप्पी दा का कम्पोज़ किया एक गीत सुनवाने का मन कर रहा था
अपनी सूची देखने पर पता चला आप सुन चुके हैं एक बार फिल्म कैदी का गीत
कोई बात नहीं इस फिल्म का दूसरा गीत सुन लेते हैं । गीतकार इन्दीवर को इस
गीत में साहित्यिक शब्द प्रयोग करने के लिए काफी जगह मिली है।

बप्पी लहरी को वर्तमान पीढ़ी "डर्टी पिक्चर" के संगीत निर्देशक के रूप में
पहचानती है। चलिए एक बार फिर से स्वर्ण युक्त(तकरीबन ९-१० किलो)
संगीत निर्देशक के सोने की झंकार वाला संगीत श्रोताओं को एक बार फिर से
सुनने को मिला।

नायक नायिका हैं जीतेंद्र और माधवी। गायक गायिका हैं-किशोर और लता।
नायक जीतेंद्र को चुस्त दुरुस्त रखने में ३०+ का जितना हाथ है उतना ऐसे
फुर्तीले नृत्य वाले गीतों को भी हाथ है। इसको हम कैलोरी जलाने वाला गीत
कह सकते हैं। इसको देख कर आपकी आँखों की भी अच्छी कसरत हो जावेगी।



गीत के बोल:

कोमल मधुर चतुर चपल तेरा हर अंग
सर्वांग सुंदरी
कोमल मधुर चतुर चपल तेरा हर अंग
सर्वांग सुंदरी
स्वर्ग के लोक से आई तेरे लिए
तू भी आ
आ आ आ आ आ आ आ आ आ

कोमल मधुर चतुर चपल तेरा हर अंग
सर्वांग सुंदरी

तन तेरा मन्दिरम मन तेरा सुन्दरम
अर्पणं तुझपे है जीवनं यौवनम
तन तेरा मन्दिरम मन तेरा सुन्दरम
अर्पणं तुझपे है जीवनं यौवनम
नैन को नैन से प्राण को प्राण से तू मिला
आ आ आ आ आ आ आ आ आ

कोमल मधुर चतुर चपल तेरा हर अंग
सर्वांग सुंदरी

जब भी लूं मैं जनम तू बने वल्लभं
जप किये ताप किये तब मिले दर्शनं
जब भी लूं मैं जनम तू बने वल्लभं
जप किये ताप किये तब मिले दर्शनं
ये हमारा मिलन देगा धरती को
नाम एक नया

कोमल मधुर चतुर चपल तेरा हर अंग
सर्वांग सुंदरी
स्वर्ग के लोक से आई तेरे लिए
तू भी आ
आ आ आ आ आ आ आ आ आ

कोमल मधुर चतुर चपल तेरा हर अंग
सर्वांग सुंदरी
.............................
Komal madhur chatur-Qaidi 1984

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